बारावफात जुलूस में पहली बार राष्टीय ध्वज के साथ निकाला गया ।
टोड़ीफतेहपुर के नगर में मुस्लिम समुदाय के लोगो द्वारा बड़ी सादगी हर्षउल्लस के साथ पैगम्बर मुहम्मद सलल्लाहो अलेहेवसल्लम की शान मे जुलूसे मुहम्मदी निकालकर खुशगवार माहौल में मनाया गया जो नगर के मोहल्ला बड़ागंज में स्थित नूरानी मस्जिद से प्रारम्भ हुआ और नगर के सभी मुहल्लों से भ्रमण करता हुआ अंत मे ग्राम कर्री में स्थित कपूरबाबा साहेब की दरगाह पर जाकर सम्पन्न हुआ।
बारावफात जुलूस में डीजे एवं दर्जनों घोड़े सम्मलित रहे।मुस्लिम समाज के अलावा हिन्दू समुदाय के लोग भी जुलुस में शरीक हुए मुस्लिम समाज के लोगो द्वारा सभी हिन्दू समाज के लोगो का इस्तकबाल किया गया।
मुस्लिम समाज के धर्म गुरुओं द्वारा बतायानुसार बारावफात में बारा का मतलब होता है बारह और वफात का मतलब होता है इंतकाल है। मोहम्मद साहब बारह दिनों तक बीमार रहे थे और इसी दिन उनका जन्म एवं इंतकाल हुआ था, जन्म और मरण एक ही दिन होने के कारण बारावफात को बहुत ही उत्साह के साथ मनाया जाता है।
बारावफात जुलूस में इस वर्ष राष्टीयता की झलक देखने को मिली पहली बार राष्टीय ध्वज के साथ बरावफात जुलूस निकाला गया।
थानाध्यक्ष कौशल किशोर मिश्रा, उपनिरीक्षक मुकेश गौतम सुरक्षा की दृष्टि से बड़ी संख्या में पुलिस बल के साथ जुलूस के अंत तक मौजूद रहे।पेशइमाम बलि मुहम्मद,हाजी तेज खाँ,हाजी शमसुद्दीन मास्टर,हैरान खाँ, मोहम्मद खाँ,छुट्टन खाँ, मान खाँ,नबीबख्स टेलर,सूरी खाँ,नज्जू खाँ, परवेज खाँ, वक्कू खाँ,नजाकत अलि, मजीत खा एवं हिन्दू समुदायों के लोग जुलूस में शरीक हुये।